Welcome. Name- Himanshi mittal Roll no.-2105680037 Class- B.ed 2 year Subject-Commerce Father’s name –Mahesh Chandra mittal Topic –Money Session-2021-22.
oops. मुद्रा ( currency, करन्सी ). पैसे या धन के उस रूप को कहते हैं जिस से दैनिक जीवन में क्रय और विक्रय होती है। इसमें सिक्के और काग़ज़ के नोट दोनों आते हैं। आमतौर से किसी देश में प्रयोग की जाने वाली मुद्रा उस देश की सरकारी व्यवस्था द्वारा बनाई जाती है। मसलन भारत में रुपया व पैसा मुद्रा है।.
जब मानव ऐसी स्थिति में होते हैं कि आपस से बड़े स्तर पर विभिन्न माल और सेवाओं का लेनदेन करें तो इस लेनेदेन को सरल बनाने के लिए वे जल्दी ही किसी न किसी प्रकार की मुद्रा का आविष्कार कर लेते हैं। मुद्रा के बिना लेनदेन के लिए केवल वस्तु विनिमय ही चारा है, यानि किसी भी व्यापार में दोनों पक्षों के पास कुछ ऐसा होना चाहिए जो दूसरे को चाहिए। पर्याप्त मुद्रा होने से कोई भी खरीददार किसी भी विक्रेता से चीज़े खरीद सकता है चाहे उसके पास विक्रेता द्वारा वांछित कोई वस्तु हो या न हो |.
मुद्रा के प्रकार. मुद्रा- प्रणाली कसौटी मुद्रा का तीन प्रकार से वर्गीकरण करती है - 1. धातु मुद्रा; 2. कागज मुद्रा; 3. साख मुद्रा.
: सामान्य रूप से तो पत्र मुद्रा का अपना कोई मूल्य नही है जबकि सिक्के का अपना मूल्य (metal value) होता है जैसे यदि एक सिक्के को पिघला दिया जाये तो उससे मिलने वाली धातु (metal) का अपना कुछ बाजार होगा | पत्र मुद्रा का जो भी मूल्य होता है वह उस पर , भारतीय रिजर्व बैंक के गवर्नर की शपथ ( लिखे गए कन ) “ मैं धारक को ( जितने रुपये का नोट होता है ) रुपये अदा करने का वचन देता हूँ ” के कारण होता है | यदि गवर्नर की यह शपथ किसी नोट पर न लिखी हो तो वह नोट सिर्फ कागज का एक टुकड़ा होता है | पत्र मुद्रा को निर्गत करने का अधिकार भारतीय रिजर्व बैंक को है जबकि इस पर लिखी गयी राशि के भुगतान का अंतिम दायित्व भारत सरकार का होता है |.
धातु मुद्रा(Metal currancy ). यदि मुद्रा धातु की बनी होती है , तो उसे धातु -मुद्रा या सिक्का कहते हैं । प्राचीन समय में धातु -मुद्रा विशेष रूप से चलन में थी । प्रारम्भ में प्राय : धातु के टुकडा़ पर राजा , महाराजा या नवाब का कार्इे ठप्पा या चिन्ह अंकित कर दिया जाता था , किन्तु वर्तमान में एक निश्चित आकार-प्रकार एवं तौल वाली मुद्रा जिस पर राज्य का वैधानिक चिन्ह अंकित होता है , धातु -मुद्रा कहलाती है । धातु -मुद्रा में कौन-सी धातु कितनी मात्रा में हागेी ? यह कानून द्वारा निधार् िरत किया जाता है । धातु मुद्रा दो प्रकार की होती है । प्रामाणिक सिक्का – प्रामाणिक सिक्का को प्रधान , पूर्णकाय तथा सवार्गं मुद्रा भी कहते है । ये सिक्के प्राय : चाँदी या सोने के बनाये जाते हैं जो कानून द्वारा निश्चित वजन तथा शुद्धता के होते हैं । सांकेतिक सिक्का – इसे प्रतीक मुद्रा के नाम से जाना जाता है । सांकेितक मुद्रा , वह मुद्रा होती है जिसका बाह्य मूल्य एवं आतं रिक मूल्य बराबर होता है । यह मुद्रा प्राय : घटिया धातु की बनी होती है ।.
DO.
साख मुद्रा(Credit money). साख मुद्रा से तात्पर्य लोगों के द्वारा निजी व्यक्ति या फिर किसी बैंक से लिया गया धन को कहते हैं । साख मुद्रा के अनेक उदाहरण हैं , जैसे की चेक , हुण्डी , प्रतिज्ञा पत्र , पुस्तकिय सख आदि है ।.
Cheque.
Hundi.